करौली की मूक-बाधिर बच्ची की मौत के रहस्य का खुआसा : माता-पिता और मामा ने जहर देकर की हत्या

सोशल मीडिया पर चल रहा था बच्ची को न्याय दिलाने का अभियान

Editor’s Comment : इस घटना ने सभी को झकझोर कर रख दिया है। बच्ची की मौत के पीछे का साजिश और जहर देने का खुलासा पुलिस की मुस्तैदी का परिणाम है। अब आरोपी कानून के शिकंजे में हैं और न्याय की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।

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हिंडौन। करौली की एक मूक-बधिर 10 वर्षीय बच्ची की दर्दनाक मौत का मामला सामने आया है। प्रारंभिक जांच में पता चला कि बच्ची की मौत आग से जलने के कारण नहीं, बल्कि जहर दिए जाने से हुई थी। सवाई मानसिंह (SMS) अस्पताल, जयपुर में इलाज के दौरान बच्ची के माता-पिता और मामा ने उसे जहर दिया।

पुलिस का खुलासा :

भरतपुर रेंज के IG राहुल प्रकाश के मुताबिक  बच्ची के पिता करनसिंह मीना, मां कमलेशी मीना, और मामा राजेश मीना को गिरफ्तार कर लिया गया है। 9 मई को माँ से झगड़ा होने के बाद बच्ची ने घर से 100 मीटर दूर खेत में खुद पर पेट्रोल छिड़ककर आग लगा ली थी। मां ने इस घटना को छुपाने के लिए पेट्रोल की बोतल घर में छुपा दी थी और पुलिस को सूचना नहीं दी थी। प्राथमिक उपचार के बाद बच्ची को हिंडौन सिटी हॉस्पिटल से जयपुर के SMS हॉस्पिटल रेफर किया गया था।

जांच के निष्कर्ष :

मूक-बधिर एक्सपर्ट द्वारा बच्ची के बयान दर्ज किए गए थे जिसमें बच्ची ने रेप की बात से इंकार किया। डीएनए जांच रिपोर्ट में भी रेप की पुष्टि नहीं हुई। 20 मई को इलाज के दौरान बच्ची की मौत हो गई और अगले दिन परिजनों ने अंतिम संस्कार कर दिया।

मौत का असली कारण :

मेडिकल बोर्ड की रिपोर्ट के अनुसार, बच्ची की मौत जहर से हुई थी। रिपोर्ट में सामने आया कि बच्ची को मौत से 24 घंटे पहले जहर दिया गया था। इससे पहले उसकी हालत में सुधार हो रहा था। जहर देने के कारण बच्ची की सांसें रुक गई थीं।

वेंटिलेटर सपोर्ट देने से इनकार :

19 मई को बच्ची की हालत बिगड़ने पर डॉक्टरों ने वेंटिलेटर पर लेने की सलाह दी थी, लेकिन मामा ने लिखित में मना कर दिया था।

साजिश का पर्दाफाश :

परिजनों ने खुद को बचाने के लिए खेत मालिक के बेटे ललित शर्मा को फंसाने की साजिश रची थी। सोशल मीडिया से ललित की पुरानी फोटो डाउनलोड करके बच्ची को दिखाई गई थी। लेकिन पुलिस जांच में ललित की कोई भूमिका नहीं पाई गई।

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