उदयपुर। अवध आर्ट ग्रुप एवं इंस्पिरिट आर्ट गैलरी के संयोजन से इंडिया आर्ट मीट के तहत मुंबई के नेहरू आर्ट सेंटर ,वर्ली में कला प्रदर्शनी का आयोजन किया गया । इसमें बड़ी संख्या में उदयपुर के चित्रकारों की पेंटिंग का प्रदर्शन किया गया।
उदयपुर की इंस्पिरिट आर्ट गैलरी से क्युरेटर डॉ मनिषा सांचीहर व डॉ. निर्मल यादव ने बताया कि प्रदर्शनी का उद्घाटन कैबिनेट मंत्री राजेश वी. क्षीरसागर ने किया। आयोजक अर्का प्रधान, क्यूरेटर सुषमा सबनीस ,ऋतु गोयल ,राशि पालीवाल, कामिनी जोहर , रोशनी कुमारी देश के जाने माने कलाकार और जे जे स्कूल ऑफ आर्ट से डीन प्रो. विश्वनाथ साबले, राजेन्द्र पाटिल ,अनंत निकम, औरा आर्ट के फाउंडर ऋषिराज शेट्टी , ताओ आर्ट गैलरी से कल्पना शाह,कौंसिल जनरल ऑफ जापान डॉ यसुकेट फुखोरी, डेप्युटी कौंसिल जनरल ऑफ ऑस्ट्रेलिया श्री क्रिस्टीन जेक,नगमा से श्रुति दास, कैमलिन से अदिति धनेकर, फ़िल्म मेकर राहुल मित्रा की मौजूदगी में शुभारंभ समारोह में देशभर से कलाकारों के साथ उदयपुर के कलाधर्मियों की पेंटिंग्स का प्रदर्शन हुआ ।
डॉ. संचिहर ने बताया कि इस इण्डिया आर्ट मीट में कलाकारों के आर्ट वर्क को रीजनल वाइस स्पेस दिया है जिसमें राजस्थान संभाग के कलाकारों को इंस्पिरिट आर्ट गैलरी द्वारा प्रदर्शित किया गया , जिसमे उदयपुर से डॉ. निर्मल यादव ,जगदीश नंदवाना , स्नेहिल बाबेल, कनिशा मेहता , संचियता यादव ,बांसवाड़ा से तस्लीम जमाल,रणथम्भौर से विजय कुमावत ,पुणे से अमित गांधी और यू के से मिशेल फाइन ने अपने 45 आर्ट वर्क को प्रदर्शित किया । डॉ संचिहर ने बताया कि इस आर्ट मीट में देश के जाने माने कलाकार हनुमंत कामले, अनंत निकम , प्रगति दलवी जैन, श्रुति दस ,जिग्नेश दशर, पूजा गियनानी, शार्दूल कदम ,नीलिशा पहाड, राजा मोहते, ऋषिराज सेठी,अरुण मर्कर्स द्वारा आर्ट टॉक और डेमोंस्ट्रेशन दिया गया।
About Author
You may also like
-
नारायण सेवा संस्थान का 44वां सामूहिक दिव्यांग व निर्धन युवाओं का विवाह महोत्सव : परंपरा और संस्कारों के बीच 51 जोड़े बंधेंगे पवित्र बंधन में
-
वेदांता जिंक सिटी हाफ मैराथन : फिटनेस, समुदाय और सामाजिक बदलाव का संगम
-
उदयपुर : राजस्थान विद्यापीठ का 89वां स्थापना दिवस, पंडित जनार्दन राय नागर की प्रतिमा का अनावरण
-
उदयपुर पुलिस का बड़ा खुलासा : जमीन घोटाले में हिस्ट्रीशीटर सहित दो गिरफ्तार, करोड़ों की धोखाधड़ी का पर्दाफाश
-
उदयपुर शहर भाजपा कार्यकारिणी—कटारिया गुट ने खुद दूरी बनाई या नेतृत्व ने उनकी अनदेखी की?