
Editor’s Comment : इस महत्वपूर्ण सफलता के लिए पुलिस अधीक्षक योगेश गोयल ने टीम को बधाई दी। यह सफलता पुलिस की सतर्कता और तकनीकी दक्षता का परिणाम है, जिससे अंतरराष्ट्रीय गिरोह को धर दबोचा गया और भविष्य में होने वाले अपराधों पर भी लगाम लगाई गई। इस पूरे ऑपरेशन में उदयपुर पुलिस की तत्परता और कड़ी मेहनत से इस अंतरराष्ट्रीय गिरोह का पर्दाफाश हुआ और अपराधियों को न्याय के कटघरे में लाया गया। इस घटना ने यह भी साबित कर दिया कि अपने घरेलू कामगारों की पृष्ठभूमि की जाँच करना और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस को देना कितना महत्वपूर्ण है। जनता से अपील की जाती है कि वे अपने घरों में काम करने वाले कर्मचारियों की पूरी जांच-पड़ताल कर ही उन्हें नियुक्त करें।
यहां से पढ़ें पूरी कहानी
उदयपुर। सुखेर पुलिस थाना क्षेत्र में मॉडर्न कॉम्प्लेक्स में डकैती का पर्दाफाश करते हुए पुलिस ने एक अंतरराष्ट्रीय नेपाली गिरोह के तीन सदस्यों को गिरफ्तार किया है। पुलिस अधीक्षक योगेश गोयल के निर्देशन में इस बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया गया।
सुखेर थाना क्षेत्र के मॉडर्न कॉम्पलेक्स में रहने वाली श्रीमती शिल्पा गांधी ने 9 जुलाई को रिपोर्ट दर्ज कराई कि उनके घर में डकैती हुई है। रिपोर्ट के अनुसार, शिल्पा गांधी और उनके परिवार के सदस्य रात्रि में भोजन करने के बाद अचानक बेहोश हो गए। उनके घर पर काम करने वाली नेपाली नौकरानी करिश्मा ने अपने चार साथियों के साथ मिलकर यह डकैती की।
पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए त्वरित कार्रवाई की। विभिन्न तकनीकी संसाधनों और सीसीटीवी फुटेज की मदद से आरोपियों का पता लगाया गया। पुलिस ने मुख्य आरोपी वीर बहादुर उर्फ बल बहादुर धामी (38), हीरासिंह (34), और अफजल (29) को गिरफ्तार किया। मुख्य आरोपी वीर बहादुर पहले भी कई संगीन अपराधों में शामिल रहा है।

घटना की गंभीरता को देखते हुए, उदयपुर के जिला पुलिस अधीक्षक योगेश गोयल ने मामले की त्वरित जांच के आदेश दिए। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक उमेश ओझा और पुलिस उप अधीक्षक कैलाश चंद्र खटीक के सुपरविजन में एक विशेष टीम का गठन किया गया। टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए सीसीटीवी फुटेज की जांच की और संदिग्धों की पहचान की।
पुलिस टीम ने मोबाइल ट्रैकिंग और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर मुंबई, दिल्ली और गाजियाबाद में जांच की। आरोपियों के ठिकानों पर छापेमारी कर उन्हें गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने बताया कि गिरोह के सदस्य फर्जी प्लेसमेंट एजेंसी के जरिए नौकरानी के रूप में लोगों के घर में प्रवेश करते थे और मौका मिलते ही लूटपाट करते थे।
पुलिस ने बताया कि गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश जारी है और नेपाल के अधिकारियों से भी संपर्क किया गया है। गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ में पता चला कि वे अन्य राज्यों में भी ऐसी घटनाओं को अंजाम देने की योजना बना रहे थे। पुलिस ने गिरोह के अंतरराष्ट्रीय कनेक्शन की जांच भी शुरू कर दी है।
मुख्य साजिशकर्ता वीर बहादुर उर्फ बल बहादुर धामी को गिरफ्तार किया गया, जो मेरठ में 7 करोड़ की लूट का मुख्य आरोपी था और वर्तमान में 5 लाख रुपये का इनामी बदमाश था। उसके साथ दो अन्य अभियुक्त हिरा सिंह और अफजल को भी गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने घटना में प्रयुक्त वाहन एर्टिगा कार और पीड़ितों को बेहोश करने के लिए दी जाने वाली दवाई भी जब्त की।
तरीका-ए-वारदात
जांच के दौरान, पुलिस को पता चला कि यह गिरोह नेपाल से संचालित होता है और भारत में आकर प्लेसमेंट एजेंसियों के माध्यम से घरेलू कामगारों को नौकरी पर रखता है। ये कामगार घर की स्थिति और मूल्यवान वस्तुओं की जानकारी गिरोह को देते हैं। सही समय पर नेपाल से एक टीम बुलाकर डकैती को अंजाम दिया जाता है और फिर नेपाल वापस चले जाते हैं।
अन्य राज्यों में भी सक्रिय
अभियुक्तों ने दिल्ली, गुरुग्राम, मुंबई और अन्य स्थानों पर भी कई वारदातें करने की बात स्वीकार की है। पुलिस ने इन घटनाओं की जानकारी संबंधित राज्य की पुलिस को सूचित कर दी है। गिरफ्तार अभियुक्तों ने खुलासा किया कि वे तीन स्तरों पर अलग-अलग टीमें बनाकर अपराध करते थे और अपने प्लान को अंजाम देते थे।
गिरोह के सदस्यों की जानकारी
1. वीर बहादुर उर्फ बल बहादुर धामी (38 वर्ष) – केसीग-4, थाना होयल, जिला डोटी, नेपाल
2. हिरा सिंह (34 वर्ष) – कोसिंग-3, थाना होयल, जिला डोटी, नेपाल
3. अफजल पिता अयूब खान पठान (29 वर्ष) – वरूण कॉम्पलेक्स, कोडली, थाना अशोक नगर, ईस्ट दिल्ली
जांच टीम के सदस्य :
1. हिमांशु सिंह राजावत, पुलिस निरीक्षक
2. धनपत सिंह, उप निरीक्षक
3. कर्मवीर सिंह, उप निरीक्षक
4. रेणु खोईवाल, उप निरीक्षक
5. सरदार सिंह, सउनि
6. सुनील बिश्नोई, हैड कांस्टेबल
7. जगदीश मेनारिया, हैड कांस्टेबल
8. मनमोहन, हैड कांस्टेबल
9. अचलाराम, कांस्टेबल
10. भंवरलाल, कांस्टेबल
11. धनराज, कांस्टेबल
12. भारतसिंह, कांस्टेबल
13. उमेश, कांस्टेबल
14. श्रवण बिश्नोई, कांस्टेबल
15. हिमांशु, कांस्टेबल
16. प्रतापसिंह, कांस्टेबल
17. सुमेर, कांस्टेबल
18. रामकुमार, कांस्टेबल
19. ओमप्रकाश, कांस्टेबल
साइबर टीम
1. फैलीराम, उप निरीक्षक
2. गजराज सिंह, सउनि
3. लोकेश रायकवाल, कांस्टेबल
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